सरकारी बाबुओं से ज्यादा दिन बच्चे जा रहे स्कूल !
छुट्टियों के गणित में माट साब दूसरे सरकारी कर्मचारियों से पिछड़े
प्रदेश में पांच कार्यदिवस वाले सप्ताह की व्यवस्था लागू होने के बाद प्रदेश में प्राइमरी स्कूल के बच्चे भी सरकारी बाबुओं और अधिकारियों से ज्यादा दिन स्कूल जा रहे हैं। 2024 का जो कैलेंडर शिक्षा विभाग ने जारी किया है उसमें शासकीय विद्यालयों में विद्यार्थियों को 59 दिन का अवकाश मिलता है। इस अवधि में भी नौ रविवार और एक दशहरा आ रहा है यानि कि इस दिन तो सभी का अवकाश है तो वहीं शेष सरकारी विभागों में (पुलिस छोड़कर) 52 छुट्टियां तो केवल शनिवार की है और इसमें से एक शनिवार को आने वाला दशहरा निकाल दिया जाए तो शेष सरकारी विभागों को 51 दिन का अतिरिक्त मिलेगा। इस मामले में शिक्षकों की बात करें तो नई व्यवस्था में उन्हें वैसे 44 दिन का अवकाश मिलेगा और यदि इसमें रविवार और शासकीय अवकाशों को कम कर दिया जाए तो शिक्षकों को 2024 में केवल 34 दिन का अवकाश मिलेगा।
लंबे समय से प्रशासनिक अधिकारियों के मुहं से शिक्षक यह सुनते आए हैं कि तुम लोग करते ही क्या हो? उनका इशारा शिक्षकों को मिलने वाले अवकाश को लेकर होता है। लेकिन पूरे प्रदेश में सरकारी विभागों में पांच दिन का सप्ताह लागू होने के बाद अब शिक्षक मध्य प्रदेश में पुलिस महकमें के बाद सबसे ज्यादा दिन काम कर रहे हैं। यदि पूरे साल की बात करें तो नए नियमों में शिक्षकों को केवल 44 दिन का अवकाश मिल रहा है जबकि पांच कार्यदिवस वाले शेष सरकारी विभागों में केवल शनिवार की छुट्टी के नाम पर ही हर साल 52 से 54 अवकाश मिल रहे हैं। ऐसे में अब आप माटसाब से यह नहीं पूछ सकते कि तुम करते ही क्या हो?
एक समय तक छुटि्टयां शिक्षा विभाग के बड़ी पहचान रहे हैं। दो महीने की गर्मियों की छुट्टी, उसके बाद दीपावली पर भी दशहरे से लेकर भाई दूज तक का अवकाश और शीतकालीन अवकाश मिलाकर यह तीन महीने से भी ज्यादा होता था। सबसे पहले दीपावली के अवकाश खत्म हुए। उसके बाद गर्मियों की छुटि्टयों में कटौती हुई और अब 90 दिन से ज्यादा के अवकाश घटकर केवल 44 दिन के बचे हैं। अब हाल ये है कि प्रदेश के सारे विभाग (पुलिस छोड़कर) अवकाश के मामले में माटसाब से आगे निकल गए हैं लेकिन अब भी माटसाब ये टैग अपने सिर पर ढ़ो रहे हैं कि तुम करते की क्या हो?
ये हैं अवकाश की नई व्यवस्था
2024 के लिए शिक्षा विभाग ने अवकाश की जो घोषणा की है। उसका लेखा जोखा इस प्रकार है
ग्रीष्मकालीन अवकाश एक से 31 मई तक यानी कुल 31 दिन
दशहरा अवकाश 11 से 13 अक्टूबर यानी कुल 03 दिन (इसमें भी एक रविवार है)
दीपावलीअवकाश 29 अक्टूबर से 03 नवंबर कुल 05 दिन
शीतकालीन अवकाश 31 दिसंबर से 04 जनवरी कुल 05 दिन
शिक्षकों को कुल अतिरिक्त अवकाश 44 दिन
(इसमें भी सात रविवार हैं और तीन शासकीय अवकाश, जो कि सभी विभागों को मिलेंगे।इस तरह से कुल छुट्टियां केवल 34 दिन हैं)
जहां तक विद्यार्थियों की बात है तो उन्हें शिक्षकों की तुलना में 15 दिन की छुट्टियां ज्यादा मिलेंगी। यानि की उन्हें 59 दिन की छुटि्टयां मिलती हैं। बच्चों की छुटि्टयों को की बात करें तो इस अवधि में नौ रविवार सम्मिलत हैं और वहीं शेष विभागों की शनिवार की 52 छुटि्टयों में केवल एक शनिवार ही ऐसा है जिसमें कि शिक्षकों को भी छुट्टी मिलती। इस तरह से शिक्षा विभाग के अलावा अन्य विभागों में 2024 में 51 अतिरिक्त अवकाश हैं तो स्कूल जाने वाले बच्चों को केवल 50 अवकाश मिले हैं। यानी वे सरकारी कर्मचारियों कि तुलना में अधिक दिन स्कूल जाएंगे?
अर्जित अवकाश भी समाप्त
छुटि्टयों के मामले में शिक्षकों के एक नुकसान और हुआ है वो है अर्जित अवकाशों का। पांच कार्यदिवस के सप्ताह वाले विभागों के कर्मचारियों को अब न केवल शिक्षकों से ज्यादा छुटि्टयां मिल रही हैं बल्कि उन्हें हर साल तीस दिन का अर्जित अवकाश भी बंद कर दिया गया है। इस तरह से शिक्षकों अधिक दिन काम करके भी अर्जित अवकाश की पात्रता नहीं हैं। शिक्षकों के संगठन इसकी मांग करते आए हैं लेकिन सरकार ने अब तक इस पर कोई निर्णय नहीं लिया है।