बिना कोचिंग केवल यूट्यूब से पढ़ाई कर टॉप किया स्टूडेंट ने
साथ ही सोशल मीडिया और गेम्स से भी किया सावधान
सामान्यत: माता पिता बच्चों की मोबाइल चलाने की आदत से परेशान होते हैं लेकिन प्रदेश के मिर्जापुर तिलठी के रहने वाले छात्र गौरव दूबे ने इसी का उपयोग कर इंटरमीडिएट की परीक्षा में 95 प्रतिशत अंक हासिल कर मिर्जापुर जिले में पहला स्थान प्राप्त किया है। गौरव दूबे के पिता टीवी मैकेनिक है। गौरव कोचिंग की बजाए घर के सदस्यों के मोबाइल पर यूट्यूब के माध्यम से पढ़ाई की। गौरव ने कहा, उन्हें उम्मीद नहीं थी कि जिला टॉप करेंगे।
गौरव दूबे इंटरमीडिएट की पढ़ाई मवैया में स्थित मिश्री लाल इंटरमीडिएट कॉलेज से कर रहे थे। मंगलवार को आये परिणाम में गौरव दूबे को 500 में 475 अंक हासिल हुए। गौरव ने अपने सफलता का श्रेय माता-पिता के साथ स्कूल में केमेस्ट्री के अध्यापक घनश्याम पटेल को दिया। पिता विष्णु शंकर दूबे ने कहा किआज खुशी का दिन है। पहली बार जीवन में इतनी खुशी मिली है। गौरव ने परिवार का नाम रोशन किया है। हमें उम्मीद नहीं थी कि गौरव जिला टॉप कर पाएंगे, लेकिन बेटे की मेहनत सफल हुई।
मन में था डर, यूट्यूब से की थी पढ़ाई
टॉपर गौरव दूबे ने बताया कि यह कहा गया है कि इंटरमीडिएट के साथ कोचिंग जरूरी है। हमने भी शुरू में कोचिंग जॉइन किया। लेकिन हमारे कॉलेज के अध्यापक घनश्याम पटेल ने कहा कि आपको कोचिंग करने की जरूरत नहीं है। हम जो पढ़ाएंगे उसी में आएगा। सफलता के लिए टीचर पर आंख मूंदकर भरोसा करें। परिणाम आने से एक घंटे पहले तक मन में डर था। यूट्यूब के माध्यम से हमने फिजिक्स और मैथ की पढ़ाई की। अपना मोबाइल न होने पर पापा और अन्य लोगों के मोबाइल के माध्यम से पढ़ाई की।
सोशल मीडिया से बनाए दूरी
गौरव ने बताया कि सोशल मीडिया पढ़ाई तो बहुत बड़ा इंपैक्ट डालता है। हमने यूट्यूब पर पढ़ाई की। हम लोगों को पढ़ाया जाता है, विज्ञान वरदान है कि अभिशाप है। आप इसका कैसा उपयोग करते हैं, आपके ऊपर निर्भर है। सोशल मीडिया के साथ-साथ मोबाइल गेम्स भी पढ़ाईको प्रभावित करते हैं। इससे दूर रहकर ही आप कुछ कर सकते है। गौरव ने कहा कि आगे उन्हें इंजीनियर बनना है।